Hindi Short Story and Hindi Moral Story on “Sabse Bada Dhani” , “सबसे बड़ा धनी” Complete Hindi Prernadayak Story for Class 9, Class 10 and Class 12.

सबसे बड़ा धनी

Sabse Bada Dhani

 

 

एक आदमी को बहुत ही दीन और हैरान देखकर दूसरे ने पूछा – क्यों भाई क्या बात है?

 

वह बोला – मैं बहुत ही गरीब हूं मेरे पास कुछ भी नहीं है|

 

कुछ भी नहीं है! दूसरे ने अचरज से पूछा – तुम सच नहीं बोल रहे हो|

 

नहीं मैं आपसे ठीक कहता हूं|

 

अच्छा तो तुम एक काम करो| दूसरे ने कहा – तुम्हारे पास दो कान हैं, एक काटकर मुझे दे दो, मैं इसके बदले तुम्हें एक हजार रुपए दूंगा|

 

नहीं, मैं अपना कान नहीं दे सकता|

 

तो अपनी दो आंखों में से एक आंख दे दो, यह लो पांच हजार रुपए!

 

नहीं, मैं ऐसा नहीं कर सकता|

 

अच्छा तो एक हाथ ही दे दो, यह लो दस हजार रुपए|

 

जी नहीं| यह नहीं हो सकता|

 

तब दूसरे ने कहा – फिर तुम कैसे कहते हो कि तुम्हारे पास कुछ भी नहीं है? तुम्हारे पास एक-दूने दो यानी दो हजार रुपए से ज्यादा के कान हैं, पांच दूने दस, दस हजार से ज्यादा की आंखें हैं और दस-दूने बीस, बीस हजार से ज्यादा के हाथ हैं| जब कान, आंख और हाथ का इतना मूल्य है तो पूरे शरीर का जाने कितना होगा|

 

पहला चुप!

 

दूसरे ने कहा – देखो तुम्हारे पास कितनी बड़ी दौलत है| जिसके पास अच्छी-अच्छी बातें सुनने के लिए कान हों, अच्छी-अच्छी चीजें देखने के लिए आंखें हों, अच्छे-अच्छे काम करने के लिए हाथ हों, उससे बढ़कर धनी और कौन हो सकता है|

 

 

 

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